
Benefits of Broom: झाडू को लेकर देश के अलग-अलग राज्यों में कई तरह के टोटके प्रचलित हैं. यूपी, बिहार, एमपी, राजस्थान, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश और पश्चिम बंगााल जैसे राज्यों में झाडू पर पैर रखना अपशगुन माना जाता है.
वहीं, दक्षिण के राज्य केरल, कर्नाटक और तमिलनाडु में भी झाडू को रखने से कर फेंकने तक का टोटका सदियों से चली आ रही हैं. झाडू का तकरीबन सभी हिंदू धर्मावलंबी पूजा करते हैं. हिंदू धर्म में शीतला माता अपने हाथों में कलश, सूप, झाडू तथा नीम के पत्ते धारण करती हैं. इसलिए झाडू को लक्ष्मी का भी प्रतीक माना जाता है. दिवाली या किसी पर्व-त्योहार में नया झाडू खरीदना भरतीय हिंदू का एक रिवाज है. ऐसे में आज हम बताएंगे कि घर में झाडू के दोष, लाभ-हानि और शगुन-अपशगुन के बारे में. घर में झाडू कब देना चाहिए? सुर्योदय से पहले ये सुर्योदय के बाद? झाडू को दिन में कहां रखें और रात में कहां रखें? साथ ही जानेंगे कैसे झाडू आपको खाकपति से लाखपति और अरबपति से कंगालपति बना देता है?
ज्योतिष शास्त्र में भी झाडू को लेकर कई तरह की सतर्कता बरतने की सलाह दी गई हैं. हालांकि, कुछ जगहों पर झाडू रखने के स्थान और घर में झाडू देने का विरोधाभास है. लेकिन, ज्योतिष के जानकारों का मानना है कि जिस जगह पर झाड़ू का अपमान होता है, वहां धन की हानी निश्चित है. हिंदू धर्म में झाड़ू को साक्षात लक्ष्मी यानी धन का प्रतीक माना गया है. इसलिए झाड़ू पर पैर लगने से मां लक्ष्मी नाराज हो जाती हैं. सूर्यास्त के बाद घर में झाड़ू पोंछा गलती से भी नहीं लगाना चाहिए।
झाडू को लेकर मान्यताएं और हकीकत
दिल्ली-एनसीआर के जाने-माने ज्योतिषाचार्य आचार्य डॉ विक्रमादित्य कहते हैं, ‘देखिए झाडू का आप अनादर नहीं कर सकते. झाडू साक्षात शीतला माता के हाथ में रहता है. इसलिए मन में झाडू के लिए वही आस्था रखें जो आप अन्य मूर्तियों में रखते हैं. झाड़ू से घर में प्रवेश करने वाली बुरी अथवा नकारात्मक ऊर्जा नष्ट होती है. घर में प्रवेश करते हुए आपकी झाडू पर पहले नजर नहीं जानी चाहिए. झाडू खुले स्थान पर रखना अपशकुन माना जाता है, इसलिए इसे छिपा कर रखें.’
भोजन कक्ष में झाडू क्यों न रखें
भोजन कक्ष में झाड़ू न रखें, क्योंकि इससे घर का अनाज और धन जल्दी खत्म हो सकता है. साथ ही स्वास्थ्य संबंधी परेशानियों का भी सामना करना पड़ सकता है. यदि अपने घर के बाहर हर रोज रात के समय दरवाजे के सामने झाड़ू रखते हैं तो इससे घर में नकारात्मक ऊर्जा प्रवेश नहीं करती है. ये काम केवल रात के समय ही करना चाहिए. दिन में झाड़ू छिपा कर रखें.’ झाड़ू पुराना हो जाने पर आप कूड़े में न फेंके और न ही जलाएं.
क्या कहते है ज्योतिष के जानकार
आचार्य विक्रमादित्य आगे कहते हैं, ‘अगर कोई बच्चा घर में अचानक झाड़ू लगा रहा है तो समझना चाहिए अनचाहे मेहमान घर में आने वाले हैं. सूर्यास्त के बाद घर में झाड़ू पोंछा गलती से भी नहीं लगाना चाहिए. ऐसा करना अपशकुन माना जाता है. झाड़ू पर गलती से भी पैर नहीं रखना चाहिए. ऐसा होने पर लक्ष्मी रूठ जाती हैं. किसी के घर से निकलने से पहले झाडू पड़ जाना चाहिए. किसी के घर से जाने के बाद झाडू देने से बचना चाहिए. इसी तरह सूर्यास्त के बाद यानी शाम के वक्त झाड़ू नहीं लगानी चाहिए. इसी तरह रात के वक्त घर से बाहर झाडू नहीं रखें. अगर आप बालकॉनी या छत पर झाडू रखते हैं तो इससे आर्थिक नुकसान होना तय है.’
झाडू कहां रखें और कहां न रखें
आचार्य विक्रमादित्य आगे कहते हैं, ‘झाडू हमेशा ही लेटा कर रखना चाहिए. अगर खड़ा रखते हैं तो झाडी पकड़ने वाला साइड ऊपर रखें. झाड़ू को खड़ा करके रखने से पति-पत्नी के बीच कलह या परिवार में कलह होने की संभावना बड़ जाती है. झाडू से किसी को मारना भी नहीं चाहिए. इससे अपशकुन होने की संभावना बढ़ जाती है. झाड़ू पुराना हो जाने पर आप कूड़े में न फेंके और न ही जलाएं. पुराने झाड़ू को जमीन के नीचे दबा दें या नदी या गंगा में बहा दें. झाडू को घर में खड़ा कर रखने से या उसमें बार-बार पैर लगाने से नुकसान होना तय माना जाता है. साथ ही इससे घर की सुख-शांति चली जाती है और अपशगुन की भी संभावना बढ़ जाती है.
झाड़ू कभी भी उत्तर-पूर्वी कोने में ना रखना चाहिए. ऐसा करने से घर में नकारात्मक ऊर्जा बढ़ती है और घर में बरकत आने के बजाए दरिद्रता आनी शुरू हो जाती है. झाडू का अगर आप सम्मान नही देंगे तो करोड़ों रुपये कमाने के बाद भी दरिद्रता आप पर सवार रहेगी. इसलिए अगर जमीन पर अनाज या खाने का सामान पड़ा है तो वहां झाड़ू न लगाएं.